कोलकाता रेप-मर्डर, ममता जूनियर डॉक्टरों से मिलने पहुंचीं

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नई दिल्ली,  14 सितम्बर। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी शनिवार को कोलकाता में स्वास्थ्य भवन के बाहर प्रदर्शन कर रहे जूनियर डॉक्टरों से खुद मिलने पहुंचीं। डॉक्टर्स 10 सितंबर से यहां प्रदर्शन पर बैठे हैं। ममता ने डॉक्टरों से कहा, ‘मेरा पद नहीं, लोगों का पद बड़ा है। मैं मुख्यमंत्री नहीं, बल्कि आपकी दीदी बनकर आपसे मिलने आई हूं।’

ममता ने कहा- आप काम पर लौटिए, मैं मांगों पर विचार करूंगी। CBI से कहूंगी कि दोषियों को फांसी दी जाए। मैं आपके प्रदर्शन को सलाम करती हूं। आपके साथ अन्याय नहीं होने दूंगी।

ममता ने आगे कहा कि यह मेरी तरफ से बातचीत की आखिरी कोशिश है। आपके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होगी, क्योंकि मैं लोकतांत्रिक आंदोलन को दबाने में विश्वास नहीं करती। ममता ने राज्य के सभी सरकारी अस्पतालों की रोगी कल्याण समितियों को भंग करने की भी घोषणा की।

ममता अब तक तीन बार डॉक्टरों से बैठकर बातचीत की पहल कर चुकी हैं। हालांकि, डॉक्टरों ने उनके तीनों प्रस्तावों को खारिज कर दिया। उनकी 5 मांगें हैं। उन्होंने सरकार से बातचीत के लिए 4 शर्तें भी रखी हैं। आरजी कर मेडिकल कॉलेज में रेप-मर्डर केस को लेकर जूनियर डॉक्टर्स 36 दिनों से हड़ताल पर हैं।

सुप्रीम कोर्ट ने 10 सितंबर तक हड़ताल खत्म करने को कहा था सुप्रीम कोर्ट ने 9 सितंबर को कोलकाता रेप-मर्डर केस की सुनवाई के दौरान जूनियर डॉक्टरों को 10 सितंबर की शाम 5 बजे तक काम पर लौटने का आदेश दिया था। कोर्ट ने आदेश न मानने पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी भी दी थी। हालांकि, डॉक्टरों ने कहना है कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं हो जाती, वे ड्यूटी पर नहीं लौटेंगे।

डॉक्टरों ने 13 सितंबर को स्वास्थ्य भवन के बाहर अभया क्लिनिक खोला और लोगों का इलाज शुरू किया। दिल्ली में रेप-मर्डर विक्टिम के बदले हुए नाम निर्भया की तर्ज पर कोलकाता ट्रेनी डॉक्टर को अभया नाम दिया गया है।

जूनियर डॉक्टर्स कल तेज बारिश के बावजूद स्वास्थ्य भवन के बाहर से नहीं हटे। आंदोलनकारियों में शामिल अनिकेत महतो ने कहा, ‘बारिश, गर्मी, भूकंप हमारे प्रदर्शन को तब तक नहीं रोक पाएंगे जब तक हमें अभया के लिए न्याय नहीं मिल जाता और हमारी अन्य मांगें पूरी नहीं हो जातीं।’

आंदोलनकारी डॉक्टर सौम्या चक्रवर्ती ने कहा, ‘अगर कोई सोच रहा है कि हम जिद्दी हैं तो यह बिल्कुल गलत है। हम डॉक्टर हैं, राजनेता नहीं। हम कोई राजनीति नहीं कर रहे हैं। हम सिर्फ हेल्थ सिस्टम को साफ करने की मांग कर रहे हैं।’

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