महिलाओं और बच्चों के खिलाफ हिंसा को रोकने की बड़ी मुहिम Stop it at the Start
नई दिल्ली: ऑस्ट्रेलियाई सरकार ने महिलाओं और उनके बच्चों के प्रति हिंसा को कम करने के लिए 18.8 मिलियन डॉलर के राष्ट्रीय अभियान के तीसरे चरण की शुरुआत की है. जिसका नाम रखा गया है, ‘इसे शुरुआत में ही रोकें’ (Stop it at the Start).
यहां हिंदी भाषी समुदाय को अपनी आवाज़ उठाने व अनादर के खिलाफ बोलने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है.
ये अभियान वयस्कों को अपनी आवाज उठाने और ऐसे कार्यों को करने का अधिकार देता है, जो युवा लोगों के नजरियों और व्यवहारों पर सकारात्मक प्रभाव डालेंगे. परिवार और सामाजिक सेवा मंत्री ऐन रस्टन (Anne Ruston) ने कहा कि पारिवारिक, घरेलू और यौन हिंसा को रोकने के हमारे प्रयासों के लिए यह अभियान महत्वपूर्ण था.
मंत्री रस्टन ने कहा, ‘हममें से हर एक को यह सुनिश्चित करने में अपनी भूमिका निभानी है कि महिलाओं के प्रति अपमानजनक मनोवृत्ति और व्यवहार बचपन में ही न सीख लिए जाएं. जब हम अनादर होता हुआ देखते हैं, तो हम सभी के लिए यह आवश्यक है कि हम उसके खिलाफ अपनी आवाज उठाएं और इसे इस बात के लिए मानक स्थापित करने के अवसर के रूप में देखें कि क्या स्वीकार किया जा सकता है और क्या नहीं.’
उन्होंने कहा, ‘इस मुद्दे पर कोई कदम उठाना अत्यधिक कठिन महसूस हो सकता है, लेकिन यदि हम सभी छोटे कदम उठाते हैं जैसे कि अपने स्वयं के विचारों के बारे में पुनर्विचार करना या अपने बच्चों से आदरपूर्ण संबंधों के बारे में बात करना, यह सब मिलकर ऑस्ट्रेलिया में सकारात्मक परिवर्तन ला सकते है.’
विदेशी मामलों की मंत्री, महिलाओं की मंत्री और कार्यवाहक रक्षा मंत्री सीनेटर मरीस पेन (Marise Payne) ने कहा कि 8 मार्च को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर ‘इसे शुरुआत में ही रोकें’ के अगले चरण की शुरुआत करके हमने अपनी उस भूमिका के बारे में एक शक्तिशाली संदेश दिया है, जिसे हम सभी को यह सुनिश्चित करने के लिए निभानी चाहिए कि सभी महिलाएं अपनी क्षमताओं का पूर्ण उपयोग कर पाएं. हमने ऑस्ट्रेलिया में लैंगिक समानता की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति की है, लेकिन चुनौतियां बनी हुई हैं चाहे वे घर में हो या कार्यस्थल पर.
पेन ने कहा, ‘सरकार के रूप में हम इसे अपना कर्तव्य समझते हैं कि इस तरह की संस्कृति को प्रोत्साहित करें जिससे आस्ट्रेलियाई पुरुष अपने जीवन में आने वाली महिलाओं का सम्मान करते हुए बड़े हों. इसे शुरुआत में ही रोकें’ सभी वयस्कों को यह दर्शाता है कि अनादर के खिलाफ कार्य करना रचनात्मक, मुक्त करने वाला और आगे आने वाली पीढ़ियों को आकार देने का एक महत्वपूर्ण तरीका हो सकता है.’
‘इसे शुरुआत में ही रोकें’ अभियान को महिलाओं और उनके बच्चों के खिलाफ
हिंसा को कम करने की राष्ट्रीय योजना 2010-2022 के अंतर्गत प्रथम कदम के
रूप में 2016 में शुरू किया गया था. अभियान के पहले चरण में वयस्कों को इस
बात के लिए प्रोत्साहित किया गया कि वे अनजाने में किए गए अपने स्वयं के
व्यवहार को पहचाने और यह समझें कि उस प्रकार का व्यवहार दूसरों पर और आगे
आने वाली पीढ़ियों पर भी क्या प्रभाव डाल सकता है. दूसरे चरण में लोगों से
कहा गया कि वे समस्या के बारे में अपनी जिम्मेदारी समझें बजाय इसके कि
अनादरपूर्ण व्यवहार को सही बताने के लिए तर्क दें.
मूल्यांकन शोध में पाया गया कि अभियान लोगों के नजरिए को बदल रहा है, जैसे
कि अभियान के पहले चरणों के परिणामस्वरूप 42% वयस्क गतिविधियां कर रहे हैं,
कम आयु के लोगों से आदरपूर्ण संबंधों के बारे में बातचीत कर रहे हैं या वे
दूसरों के प्रति किए जा रहे अपने व्यवहार को बदल रहे हैं.
अभियान का तीसरा चरण रविवार 14 मार्च को टेलीविजन, सिनेमा, ऑनलाइन, आउटडोर, डिजिटल और सोशल मीडिया आदि सभी माध्यमों पर शुरू किया गया.