अमेरिका की नई रणनीति—गाजा को दो हिस्सों में बांटने की योजना पर बढ़ी अंतरराष्ट्रीय हलचल

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वॉशिंगटन, 15 नवम्बर 2025 । गाजा पट्टी को लेकर अमेरिका की नई रणनीति ने वैश्विक राजनीति में हलचल मचा दी है। रिपोर्ट्स के अनुसार, अमेरिका गाजा को दो हिस्सों—उत्तरी और दक्षिणी ज़ोन—में विभाजित करने की योजना पर काम कर रहा है, ताकि क्षेत्र में स्थिरता, मानवीय सहायता के प्रभावी वितरण और सुरक्षा संरचना को मजबूत किया जा सके। यह प्रस्ताव ऐसे समय आया है जब गाजा में लगातार मानवाधिकार संकट, संघर्ष और सुरक्षा चुनौतियाँ बढ़ती जा रही हैं।

सूत्रों का कहना है कि इस विभाजन का उद्देश्य नियंत्रित प्रशासनिक तंत्र स्थापित करना है, जिसके तहत उत्तरी गाजा में सुरक्षा संचालन को कड़ा किया जाएगा और दक्षिणी गाजा को राहत कार्यों के लिए प्राथमिक केंद्र बनाया जाएगा। अमेरिकी अधिकारियों का मानना है कि यह व्यवस्था तत्काल हिंसा कम करने और अंतरराष्ट्रीय सहायता एजेंसियों को अधिक प्रभावी ढंग से काम करने का अवसर दे सकती है।

अमेरिका गाजा पट्टी को दो हिस्सों में बांटने की तैयारी कर रहा है। इसके लिए एक लॉन्ग टर्म प्लान बनाया गया है। एक हिस्से पर इंटरनेशनल फोर्स (ISF) और इजराइली सेना का कंट्रोल रहेगा। इसे ग्रीन जोन कहा जाएगा।

फिलिस्तीनी आबादी वाले दूसरे हिस्से को फिलहाल खंडहर अवस्था में ही रहने दिया जाएगा। इसे रेड जोन नाम दिया गया है। लगभग सभी फिलिस्तीनी रेड जोन में विस्थापित हो गए हैं।

यह दावा द गार्डियन की एक रिपोर्ट में किया गया है। इस रिपोर्ट को अमेरिकी सेना के खुफिया दस्तावेजों और अधिकारियों के निजी बयानों के आधार पर तैयार किया गया है। रिपोर्ट के मुताबिक इस प्लान को लागू करने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है।

गाजा पट्टी के पूर्वी हिस्से में बनेगा ग्रीन जोन

गाजा के पूर्वी हिस्से में ग्रीन जोन बनाया जाएगा। यहां इजराइली सैनिकों के साथ विदेशी सैनिक भी तैनात होंगे। यहां पर री-डेवलपमेंट का काम होगा।

अमेरिका यहां तैनात होने वाले अंतरराष्ट्रीय सुरक्षा बलों को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से औपचारिक मंजूरी दिलाने की कोशिश कर रहा है।

प्लान के मुताबिक यहां शुरुआत में कुछ सौ सैनिक तैनात होंगे। बाद में इनकी संख्या बढ़ाकर 20,000 तक की जा सकती है। ग्रीन जोन से बाहर जाने की अनुमति किसी विदेशी सेना को नहीं होगी।

खंडहर हो चुका पश्चिमी गाजा रेड जोन बनेगा

इजराइल के नियंत्रण वाली येलो लाइन के पश्चिम का हिस्सा रेड जोन कहलाएगा। यहां कोई री-डेवलमेंट नहीं किया जाएगा। 2 साल की जंग में सबसे ज्यादा नुकसान इसी इलाके को पहुंचा है। यहां लगभग 20 लाख की आबादी फंसी हुई है।

यह पूरा प्लान हाल ही में हुए सीजफायर और डोनाल्ड ट्रम्प के उन्हीं वादों पर सवाल खड़ा करता है। ट्रम्प प्रशासन की तरफ से कहा गया था कि गाजा को एकजुट कर फिलिस्तीनी शासन को बहाल किया जाएगा।

फिलहाल, अमेरिका ने इस रणनीति पर औपचारिक घोषणा नहीं की है, लेकिन इससे जुड़े संकेतों ने वैश्विक मंच पर एक नई बहस को जन्म दे दिया है। दुनिया की निगाहें अब इस बात पर टिकी हैं कि क्या यह योजना संघर्ष को शांत करेगी या पहले से जूझ रहे गाजा को और जटिल बनाकर अंतरराष्ट्रीय तनाव बढ़ा देगी।

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