पाकिस्तान विमेंस वनडे वर्ल्ड कप से बाहर — लगातार हारों ने तोड़ी उम्मीदें

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नई दिल्ली, पाकिस्तान की महिला क्रिकेट टीम के लिए इस बार का वनडे वर्ल्ड कप बेहद निराशाजनक साबित हुआ। लगातार हारों की श्रृंखला ने न केवल टीम की उम्मीदों पर पानी फेर दिया, बल्कि उनके अभियान को समय से पहले ही समाप्त कर दिया। टूर्नामेंट की शुरुआत में टीम से बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद थी, लेकिन बल्लेबाजी और गेंदबाजी दोनों ही विभागों में अस्थिरता ने टीम को पीछे धकेल दिया।

पाकिस्तान की टीम विमेंस वनडे वर्ल्ड कप से बाहर हो गई है। टीम को साउथ अफ्रीका के सामने छठे मैच में DLS मेथड के तहत 150 रन की बड़ी हार का सामना करना पड़ गया। इसी के साथ साउथ अफ्रीका पॉइंट्स टेबल में टॉप पर पहुंच गई। टीम का आखिरी मैच ऑस्ट्रेलिया से होगा।

साउथ अफ्रीका ने 312 रन बनाए कोलंबो के आर प्रेमदासा स्टेडियम में पाकिस्तान ने टॉस जीतकर बॉलिंग चुनी। बारिश के कारण पहली पारी को 40 ओवर का कर दिया गया। साउथ अफ्रीका ने 9 विकेट खोकर 312 रन बना लिए। डकवर्थ लुईस मेथड के कारण पाकिस्तान के 306 रन का टारगेट मिल गया।

साउथ अफ्रीका के लिए कप्तान लौरा वोल्वार्ट ने 90, सुने लुस ने 61 और मारिजान कैप ने 68 रन बनाए। नदिन डी क्लर्क ने 16 गेंद पर 4 छक्के और 3 चौके लगाकर 41 रन की पारी खेली। पाकिस्तान के लिए नशरा संधू और सादिया इकबाल ने 3-3 विकेट लिए। कप्तान फातिमा सना को 1 विकेट मिला। 2 बैटर रन आउट भी हुईं।

83 रन ही बना सकी पाकिस्तान पाकिस्तान की बैटिंग के दौरान भी बारिश होने लगी। इस कारण उन्हें 20 ओवर में 234 रन का टारगेट मिला। टीम 7 विकेट खोकर 83 रन ही बना पाई। सिद्रा नवाज ने 22, नतालिया परवेज ने 20 और सिद्रा अमीन ने 13 रन बनाए। बाकी कोई भी बैटर 10 रन का आंकड़ा भी नहीं छू सकीं।

साउथ अफ्रीका के लिए मारिजान कैप ने 20 रन देकर 3 विकेट लिए। नोन्दुमिसो शंगासे को 2 विकेट मिले। आयाबोंगा खाका ने 1 विकेट लिया। वहीं एक बैटर रन आउट हुईं। दोहरे प्रदर्शन के लिए मारिजान कैप को प्लेयर ऑफ द मैच का अवॉर्ड मिला।

इस नतीजे के बाद पाकिस्तान की टीम अब टूर्नामेंट से बाहर हो चुकी है। विश्लेषकों का मानना है कि टीम को अब अपने घरेलू ढांचे और युवा प्रतिभाओं पर ध्यान केंद्रित करना होगा ताकि भविष्य में बेहतर प्रदर्शन किया जा सके। रणनीति, फिटनेस और मानसिक दृढ़ता पर काम करना अब पाकिस्तान महिला क्रिकेट के लिए सबसे बड़ी प्राथमिकता होनी चाहिए।

हालांकि यह सफर निराशाजनक रहा, लेकिन कुछ युवा खिलाड़ियों ने अपने प्रदर्शन से यह संकेत दिया है कि पाकिस्तान महिला क्रिकेट का भविष्य अभी भी उज्जवल हो सकता है—जरूरत है तो बस निरंतरता और आत्मविश्वास की।

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